मेष लग्न और पुखराज :
मेष लग्न में गुरु नवम और बारहवे भाव का अधिपति
होता है और यह लग्नेश मंगल का भी अभिन्न मित्र है! इसलिए गुरु को इस लग्न
के जातक के लिए शुभ मन जाता है ! इस लग्न के जातक को पुखराज धारण करने से
जातक का भाग्योदय होता है इसके अतिरिक्त जातक के सभी उर्के हुए कार्य
संपन्न होते है उसे समाज में मान सम्मान प्राप्त होता है उसे लाटरी शेयर
का लाभ प्राप्त होता है उसके सभी मांगलिक कार्य सम्पूर्ण होता है ! ऐसे
जातक को जन्म स्थान से दक्षिण पूर्व दिशा से विशेष लाभ होता है !
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